विश्व कपास दिवस और भारत World cotton day
हर साल 7 अक्टूबर को विश्व कपास दिवस मनाया जाता है। इसकी शुरुआत 2019 में विश्व व्यापार संगठन के जिनेवा मुख्यालय में हुई थी।इस दिवस को कपास के लाभों को ज्यादा से ज्यादा लोगों तक पहुंचाना।और कपास के उत्पादन से होने वाले फायदों को बताना होता है। मानव हजारों सालों से सूती वस्त्र पहनकर आया है। जिसमे कपास की सबसे महत्वपूर्ण भूमिका है।कपास से लगभग कुछ भी बर्बाद नहीं होता है। इसका उपयोग कपड़ा, पशु चारा,खाद्य तेल, सौंदर्य प्रसाधन, या ईंधन और अन्य उपयोग में किया जाता है।
दुनिया के सर्वश्रेष्ठ कपास होने की प्रतिष्ठा के साथ इसकी कोमलता, ताकत और बेहतर विशेषतायें मिश्र को कपास से बने उत्पादकों की दुनिया की सबसे बेहतरीन उत्पादकों में से एक बना दिया है। कपास उगाने और इसका प्रश्संकरण करके बहुत रोजगार उत्पन्न करता है। कपास दुनिया भर में लगभग 100 मिलियन परिवारों को रोजगार और आय प्रदान करता है। दुनिया भर में प्रतिवर्ष 26,172, 678 टन कपास का उत्पादन होता है। भारत प्रतिवर्ष 6, 188,000 टन कपास का उत्पादन करके दुनिया का सबसे बड़ा कपास उत्पादक देश है।अमेरिकी अर्थव्यवस्था में कपास से
वार्षिक व्यापार 120 अरब डॉलर से अधिक है। भारत सबसे बड़ा कपास उत्पादक देश है देश के विभिन्न राज्य में लगभग 133 लाख हेक्टेयर में कपास की खेती की गई जाती है। और इससे 371 लाख गांठ से अधिक का उत्पादन किया जाता है। कपास से संबंधित टेक्सटाइल उद्योग का भारत की अर्थव्यवस्था में बहुत बड़ा योगदान है। टेक्सटाइल उद्योग का भारत की जीडीपी में 5% का योगदान देता है।भारत मे सिन्धुघाटी सभ्यता से 5000ईसा पूर्व से कपास की खेती की जाती है।